Degree प्लेसमेंट की कड़वी सच्चाई: क्या आप तैयार हैं सच्चाई जानने के लिए?

आजकल जब आप किसी भी MBA प्रोग्राम को देखेंगे, खासकर मार्केटिंग स्पेशलाइज़ेशन में, तो एक चीज़ बहुत कॉमन दिखाई देगी — कॉलेज की वेबसाइट पर लिखा होता है: “100% प्लेसमेंट”। इस लाइन को पढ़कर स्टूडेंट्स का एक्साइटमेंट लेवल काफी बढ़ जाता है। उन्हें लगता है कि अगर 100% प्लेसमेंट है तो नौकरी तो पक्की है, और वो भी ₹10 लाख, ₹15 लाख या ₹20 लाख के एवरेज पैकेज के साथ!

लेकिन क्या यह हकीकत है?

कॉरपोरेट क्या चाहता है?

जब कंपनियाँ हायरिंग करती हैं और जॉब डिस्क्रिप्शन भेजती हैं, तो उसमें लिखा होता है:
“B.Tech in Mechanical + MBA in Marketing”
इसका मतलब है कि कंपनियाँ सिर्फ MBA डिग्री नहीं देखतीं, बल्कि बैकग्राउंड, स्किलसेट और टेक्निकल एक्सपोज़र भी देखती हैं।

कई बार MBA-Marketing करने वाले इंजीनियर्स को यह फायदा होता है कि वे टेक्निकल क्लाइंट्स या IT कंपनियों से बातचीत बेहतर ढंग से कर सकते हैं। वे टर्मिनोलॉजी को समझते हैं और कस्टमर की जरूरतों से रिलेट कर पाते हैं। लेकिन सिर्फ MBA करना, बिना किसी मजबूत फाउंडेशन के, कई बार मार्केट में कमज़ोरी बन जाता है।

प्लेसमेंट के पीछे का सच

कॉलेज दावा करता है कि प्लेसमेंट में किसी को ₹30 लाख का पैकेज मिला, लेकिन असलियत में वो सिर्फ एक स्टूडेंट था। बाकी 90% स्टूडेंट्स को ₹3-5 लाख का पैकेज भी मुश्किल से मिल पाता है।
इसका मतलब है कि जो एवरेज पैकेज दिखाया जाता है, वह बहुत ही मिसलीडिंग होता है।

कंपनियाँ कैसे चुनती हैं?

जब कोई कंपनी कॉलेज में आती है तो उसका प्रोसेस होता है:

  • Aptitude Test
  • Personal Interview
  • Group Discussion या Case Study

पर क्या आप जानते हैं कि एक ही बैच में दो स्टूडेंट्स को एक जैसी डिग्री होने के बावजूद अलग-अलग पैकेज क्यों मिलते हैं?

क्योंकि कंपनियाँ सिर्फ मार्क्स नहीं देखतीं, बल्कि देखती हैं:

  • Communication Skills
  • Attitude & Confidence
  • Domain Knowledge
  • Body Language & Soft Skills
  • Adaptability & Learning Agility

100% प्लेसमेंट का मतलब क्या है?

जब कॉलेज कहता है “100% प्लेसमेंट”, तो इसका मतलब ये नहीं कि सभी को बढ़िया नौकरी मिली। इसका मतलब ये हो सकता है कि सबको कोई न कोई जॉब ऑफर मिला — भले ही वो 10,000 की सेल्स जॉब हो या डेटा एंट्री प्रोफाइल।

MBA करना है तो कैसे करें?

अगर आप MBA करना चाहते हैं, तो सिर्फ कॉलेज ब्रांड या प्लेसमेंट रिपोर्ट देखकर एडमिशन न लें। ध्यान दें:

  • कॉलेज का इंडस्ट्री एक्सपोजर कैसा है?
  • फैकल्टी का अनुभव कैसा है?
  • किस तरह की कंपनियाँ आती हैं?
  • कॉलेज आपके स्किल डेवलपमेंट पर कितना ध्यान देता है?
  • क्या आपको real-world experience मिल रहा है?

निष्कर्ष:

MBA एक शानदार करियर विकल्प हो सकता है — लेकिन तभी जब आप सही तैयारी, सही दिशा और सही माइंडसेट के साथ आएं। केवल “100% प्लेसमेंट” या “20 लाख का पैकेज” देखकर फैसला न लें।

अपना स्किल सेट मजबूत करें, सच्चाई समझें और खुद को उस प्रोफाइल के लायक बनाएं जो आप पाना चाहते हैं।

लेखक: बिकाश डे
(एक अनुभवी करियर एनालिस्ट एवं उच्च शिक्षा के जानकार)

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